Ik Onkar Lyrics With Meaning In Hindi
Song: Ik Onkar
Singer: Unknown
Lyrics: Unknown
Music: Unknown
Ik Onkar Lyrics With Meaning In Hindi
अकाल मूरत
अजूनी सैभं गुरप्रसाद
वह काल से मुक्त है। न उसका जन्म
हुआ न ही उसकी मृत्यु होगी।
वह स्वयं से ही प्रकाशमान है।
उसका ही प्रकाश गुरुप्रसाद के
रूपमें हर कण में प्रकाशित होता है।
जप आदि सच जुगादि सच
कर है भी सच
नानक होसी भी सच।
इसी अमर सत्य का जाप करो।
युगों -युगों से यही सत्य है
और
भविष्य में भी यही सत्य रहेगा।
सोचै सोचि न होवई.
जे सोची लख वार.
लाख बार स्नान करने से
भी मन पवित्र नहीं होता।
चुपै चुप न होवई
जे लाइ रहा लिव तार।
चुप रहने पर भी मन को
शांति नहीं मिलती ।
जब तक उस मन के तार
बाहरी संसार से जुड़े हैं।
भुखिआ भुख न उतरी
जे बना पुरीआ भार।
मन की भूख नहीं मिटती
चाहे भौतिक शरीर जितना
मर्ज़ी खाना खा ले।
सहस सिआणपा लख होहि.
ते इक न चलै नाल।
चाहे कोई बहुत सियाना हो, उसे
लाख चालाकियाँ आती हो।
लेकिन गुरुप्रसाद को पाने लिए
कोई चाल काम नहीं आती।
किव सचिआरा होईऐ
किव कूड़ै तुटै पाल।
शिष्य (सिक्ख) कैसे उस सत्य
को प्राप्त हो सकता है।
इस भ्रम और मिथ्या की दीवार
को कैसे तोड़ा जा सकता है।
हुकम रजाई चलणा
नानक लिखिआ नाल।
ईशवर के हुक्म को मानकर,
उसके बताये रास्ते चलकर ही
उस इश्चर तक पहुंचा जा सकता
है